प्रभु प्रेमियों ! सत्संग ध्यान के इस प्रवचन सीरीज में आपका स्वागत है। आइए आज जानते हैं-संतमत सत्संग के महान प्रचारक सद्गुरु महर्षि मेंहीं परमहंस जी महाराज के हिंदी प्रवचन संग्रह "महर्षि मेंहीं सत्संग सुधा सागर" के प्रवचन नंबर S309, इसमें बताया गया है कि कोई तृष्णा बाकी नहीं रह जाए, वह ईश्वर भक्ति क्या है? अर्थात ईश्वर भक्ति करने से सभी इच्छाओं का नाश हो जाएगा और परम संतुष्टिदायक सुख की प्राप्ति होगी। इस ईश्वर भक्ति को कैसे करना चाहिए? वह ईश्वर क्या है ? उसकी भक्ति कैसे कर सकते हैं? आदि बातों की जानकारी इस प्रवचन में विस्तार से दिया गया है।
प्रवचन चित्र 1 |
प्रवचन चित्र दो |
प्रवचन समाप्त |
प्रभु प्रेमियों ! आप लोगों ने गुरु महाराज के प्रवचन का पाठ किया और जाना ईश्वर भक्ति से परम संतुष्टि दयक सुख की प्राप्ति होती है और वह ईश्वर भक्ति कैसे कर सकते हैं। इतनी जानकारी के बाद भी अगर आपके मन में किसी प्रकार का शंका या कोई प्रश्न है, तो हमें कमेंट करें । इस प्रवचन के बारे में अपने इष्ट मित्रों को भी बता दें, जिससे वह भी लाभांवित हों। जय गुरु।
S309, कोई तृष्णा बाकी नहीं रह जाए, वह ईश्वर भक्ति क्या है? जाने -महर्षि मेंहीं
Reviewed by सत्संग ध्यान
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5/11/2018
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